आईटीडीसी द्वारा तैयार पर्यटन उद्योग के लिए नए सामान्य रूप में काम करने का मार्ग
30 जून, 2020, नई दिल्ली: अर्थव्यवस्था के अपने नए सिरे से शुरुआत करने के साथ-साथ, आतिथ्य और पर्यटन उद्योग भी वापसी करने के लिए कमर कस रहा है। नए सामान्य को अपनाने और आगे की कार्यनीति पर चर्चा करने के प्रयोजन से, भारत पर्यटन विकास निगम (आईटीडीसी) ने 30 जून, 2020 को 'कोविड 19 के वर्तमान परिदृश्य में आतिथ्य, यात्रा एवं पर्यटन उद्योग की तैयारी’ पर एक वेबिनार की मेजबानी की।
वेबिनार में, आतिथ्य, पर्यटन और यात्रा के विभिन्न क्षेत्रों का प्रतिनिधित्व करते हुए, श्री जी कमला वर्धन राव, अध्यक्ष व प्रबंध निदेशक, आईटीडीसी; श्रीमती मीनाक्षी शर्मा, महानिदेशक (पर्यटन), पर्यटन मंत्रालय; श्री सुमन बिल्ला, निदेशक, तकनीकी सहयोग व सिल्क रोड यूएनडबल्यूटीओ (UNWTO); श्री प्रणब सरकार, अध्यक्ष, आईएटीओ (IATO); श्री सुभाष गोयल, मानद सचिव, फ़ेथ (FAITH); श्री पीपी खन्ना, अध्यक्ष, एडीटीओआई (ADTOI) और श्री अमरेश तिवारी, उपाध्यक्ष, आईसीपीबी (ICPB) ने भाग लिया।
पैनल पर सदस्यों से बहुमूल्य इनपुट प्राप्त हुए, जिनकी यह राय भी थी कि यदि सभी हितधारक इस प्रकार की परीक्षा की घड़ी के दौरान एक-दूसरे का समर्थन करने के लिए साथ आते हैं, तो यह उद्योग पहले से कहीं अधिक मजबूत होकर वापसी कर सकता है। पहले घरेलू पर्यटन का, और इसलिए भारत का, गंतव्य के रूप में पुनर्जीवित होना निश्चित है। हमें विश्वास है कि हम एक-दूसरे के सहयोग से सफल होंगे और अधिक मजबूत होकर वापसी करेंगे। पैनल पर सभी सदस्य इस बात पर एकमत थे कि हम जो भी करते हैं, उससे कहीं अधिक विश्व और भावी यात्रियों को यह सही प्रकार से संप्रेषित करना और विश्वास दिलाना महत्वपूर्ण है कि वे भारत की यात्रा करते समय सुरक्षित हैं।
पैनल पर सदस्यों को संबोधित करते हुए, श्री जी कमला वर्धन राव, अध्यक्ष व प्रबंध निदेशक, आईटीडीसी ने कहा, “उनकी पुनर्वापसी के लिए यात्रियों में विश्वास भाव पैदा करना होगा। आईटीडीसी ने संबंधित कर्मचारियों के लिए अपने सभी एककों में सेनिटाइजेशन और स्वच्छता पर समग्र प्रशिक्षण कार्यक्रम पहले ही पूरा कर लिया है और वर्तमान स्थिति को संभालने हेतु एसओपी तैयार किया है। अपने व्यवसाय को पुन: प्रारंभ करने के लिए, आईटीडीसी ने न केवल अपने कर्मचारियों को स्वास्थ्य और सुरक्षा प्रोटोकॉल पर कड़ा प्रशिक्षण प्रदान किया है, अपितु कोविड-19 की स्थिति की निगरानी करने और जब और जहाँ आवश्यक हो, आवश्यक कदम उठाने के लिए एम्स के साथ समझौता-ज्ञापन पर हस्ताक्षर भी किए हैं।”
निगम पारंपरिक आतिथ्य को बनाए रखते हुए, स्वास्थ्य और सुरक्षा को सर्वोच्च प्राथमिकता देने हेतु प्रतिबद्ध है।